प्रकाशोत्सव में शामिल होकर धन्य हुआ- नरेन्द्र मोदी

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प्रमोद दत्त.पटना.गुरूगोविन्द सिंहजी की पवित्र भूमि को नमन करने का सौभाग्य मिला- महान लोगों की भूमि बिहार में आयोजित प्रकाशोत्सव में शामिल होकर धन्य हुआ.350वें प्रकाशोत्सव के अवसर पर गांधी मैदान के दरबार हॉल में गुरूग्रंथ साहिब को मत्था टेकने के बाद श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी ने अपनी यह भावना व्यक्त की.उन्होंने गुरूगोविन्द सिंह के जीवन व संदेश को सभी के लिए प्रेरणादायक बताया.

गांधी मैदान में आयोजित गुरूगोविन्द सिंहजी के 350वें प्रकाशोत्सव के मुख्य समारोह में प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी के अलावा बिहार के राज्यपाल रामनाथ कोविन्द,मुख्यमंत्री नीतीश कुमार,पंजाब के मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल,केन्द्रीय मंत्री रामविलास पासवान व रविशंकर प्रसाद,शिरोमणि गुरूद्वारा प्रबंध समिति के अध्यक्ष के.आर.बधुवार,तख्त हरिमंदिर प्रबंध समिति के अध्यक्ष अवतार सिंह के अलावा सिख धर्म के प्रमुख सिरमौर शामिल हुए.इनके अलावा केन्द्रीय मंत्री गिरिराज सिंह,राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद व उनके दोनों बेटे- तेजस्वी यादव व तेजप्रताप यादव,आदि उपस्थित थे.इस अवसर पर प्रधान मंत्री ने 350वें प्रकाशोत्सव पर जारी डाक टिकट का लोकार्पण किया.प्रधानमंत्री सहित राज्यपाल,बिहार व पंजाब के मुख्यमंत्री ने गुरूग्रंथ साहिब के सामने मत्था टेका और बाद में लंगर छका.

अपने संबोधन में पीएम मोदी ने गुरूगोविन्द सिंह जी की प्रेरणादायक पहलुओं की चर्चा करते हे उन्हें महान योद्धा,मार्ग दर्शक,बलिदानी,त्यागी और खालसा पंथ व पंच प्यारे की परम्परा शुरू करनेवाले प्रेरणा पुरूष बताया.उन्होंने प्रकाशोत्सव के सफल आयोजन के लिए नीतीश कुमार,उनके सहयोगी और बिहारवासियों को बधाई दी.उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार ने प्रकाशोत्सव के लिए विशेष योजना बनाई थी.दुनिया के सभी देशों में जहां भी सिख भाई रहते हैं संबंधित एम्बेसी के माध्यम से इस योजना का लाभ पहुंचाया गया ताकि सभी को अहसास हो कि गुरूगोविन्द सिंह जी महाराज जैसे दिव्यात्मा का जन्म 350 साल पहले हुआ था- जो मानवता के लिए प्रेरणास्रोत बने.

प्रधानमंत्री ने बिहार में नशाबंदी के लिए नीतीश कुमार को बधाई देते हुए कहा कि समाज में परिवर्तन बड़ा कठिन काम है.गुजारिश करता हूं कि यह काम सिर्फ सरकार या किसी पार्टी का नहीं है इसलिए जन-जन इसे सफल बनाएं.उन्होंने गांधी की चंपारण यात्रा के शताब्दी वर्ष की तैयारी पर कहा कि यह भी महत्वपूर्ण काम है क्योंकि गांधीजी को सत्याग्रह की बिहार से ही मिली.

इस अवसर पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि बिहार ज्ञान व मोक्ष की पावन धरती है जहां कई धर्मों के धर्म गुरूओं का या तो जन्म हुआ या कर्मभूमि रही.अभी एक साथ दो बड़े आयोजन हो रहे हैं.पटना में 350वां प्रकाशोत्सव तो बोध गया में 34वीं कालचक्र पूजा का आयोजन हो रहा है.प्रकाशोत्सव के ठीक बाद बापू के चंपारण सत्याग्रह के 100वें वर्ष का भव्य आयोजन होगा.उन्होंने कहा कि बिहार की पवित्र भूमि पर गुरूगोविन्द सिंहजी का जन्म होने के साथ साथ गुरूनानकजी और गुरू तेगबहादुर जी भी आए.राज्यभर के प्रमुख गुरूद्वारों को जोड़ते हुए गुरू सर्किट का विकास किया जाएगा.उन्होंने बिहार में शराबबंदी की चर्चा करते हुए कहा कि नशामुक्त समाज होगा तो बाद की पीढी ऊंचाई तक जाएगी.

बिहार के राज्यपाल रामनाथ कोविन्द ने कहा कि गुरूगोविन्द सिंहजी का जीवन सभी के लिए आदर्श है. एक महानायक,अप्रतीम योद्धा,विद्वान और समाज सुधारक- गुरूगोविन्द सिंहजी का संदेश आज भी हम सब के लिए महत्वपूर्ण है.पंजाब के मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल ने जहां समारोह के आयोजन का उत्साह बढाने के लिए पीएम मोदी को धन्यवाद दिया वहीं इसके सफल आयोजन के लिए नीतीश कुमार को बधाई दी.उन्होंने कहा कि नीतीशजी ने देश विदेश के सिखों का दिल जीत लिया.उन्होंने पटना में जो व्यवस्था की शायद हम भी नहीं कर पाते.

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