नीतीश मंत्रिमंडल का विस्तार,17 नए मंत्री शामिल

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संवाददाता.पटना. लंबे इंतजार के बाद मंगलवार को नीतीश कैबिनेट का विस्तार हो गया है।राजभवन में आयोजित शपथ ग्रहण समारोह में जदयू कोटे से 8 और भाजपा कोटे से 9 मंत्री बनाए गए। सैयद शाहनवाज हुसैन, श्रवण कुमार, मदन सहनी, प्रमोद कुमार, संजय कुमार झा, लेशी सिंह, सम्राट चौधरी, नीरज कुमार सिंह, सुभाष सिंह, नितिन नवीन, सुमित कुमार सिंह, सुनील कुमार, नारायण प्रसाद, जयंत राज, आलोक रंजन झा, जमा खान व जनक चमार ने मंत्री पद की शपथ ली।

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार राजभवन के राजेंद्र मंडप में आयोजित मंत्रिमंडल के सदस्यों के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल हुए। राज्यपाल फागू चैहान ने राज्य सरकार के कैबिनेट मंत्री के रुप में 17 नए मंत्रियों को शपथ दिलायी।

शपथ ग्रहण समारोह के पश्चात् पत्रकारों से बातचीत करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि आज मंत्रिमंडल का विस्तार हो गया है। सभी नवनिर्वाचित मंत्रियों को बधाई देता हूं। मैं सबसे यही आग्रह करुंगा कि वे पूरी निष्ठा के साथ बिहार की सेवा करें और अपने दायित्वों का निर्वहन करें। हमने सभी मंत्रियों के विभागों का निर्णय कर दिया है। आज मंत्रिमंडल की बैठक में सभी नए मंत्री भी शामिल होंगे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि जब भी मंत्रिपरिषद का गठन होता है तो हर इलाके और समाज के हर तबके के प्रतिनिधित्व का ध्यान रखा जाता है। हमारी कोशिश होती है कि लगभग सभी क्षेत्र के लोगों का प्रतिनिधित्व हो। मंत्रिमंडल में मंत्रियों की संख्या सीमित होती है। हमारा प्रयास होता है कि मंत्रिमंडल में ब्रॉडर रुप में सभी इलाके के लोगों की भूमिका रहे।

कैबिनेट विस्तार को लेकर कहा भी जा रहा था कि इसबार विस्तार में देरी इसलिए हो रही है, क्योंकि जातीय व क्षेत्रीय समीकरण का ध्यान रखा जा रहा है। लेकिन, मंत्रिमंडल विस्तार के बाद न जातीय समीकरण का ध्यान रखा गया न क्षेत्रीय समीकरण का। इस बार भूमिहार छोड़कर सभी जाति के लोगों को शामिल किया गया है। यहाँ तक एक ही जिले के 3 नेताओं को मंत्री बनाया गया है।

नीतीश कैबिनेट में 4 राजपूत, 2 कुशवाहा, 2 ब्राह्मण, 2 वैश्य, 2 मुस्लिम, 1 चमार, 1 कायस्थ, 1 कुर्मी, 1 मल्लाह व 1 पासवान (दलित) को जगह मिली है।

कैबिनेट विस्तार को लेकर नाराजगी जताते हुए बाढ़ से भाजपा विधायक ज्ञानेंद्र सिंह ज्ञानू ने कहा कि एक ही जिले से 3 लोगों को मंत्री बनाया जा रहा है। वहीं, किसी कमिश्नरी से एक को भी नहीं, पूरे दक्षिण बिहार को नजरअंदाज किया गया है। न जातीय समीकरण का ध्यान रखा गया है न क्षेत्रीय समीकरण का। अनुभवहीन व दागी लोगों को मंत्री बनाया जा रहा है। सवर्णों को पूरी तरह नजरअंदाज किया जा रहा है, जो कि ठीक नहीं है। क्योंकि, सवर्णों ने ही पार्टी को खड़ा किया है।

इसके अलावा मंत्रिमंडल विस्तार को लेकर भाजपा के अंदर भी नाराजगी पनप रही है। कर्तव्यनिष्ठ व काबिल लोगों को नजरअंदाज किये जाने के बाद दबी जुबां यह यह भी चर्चा हो रही है कि अगर केंद्रीय नेतृत्व जमीनी स्तर के कार्यकर्ताओं की नारजगी समझने में देर की तो पार्टी बिहार में भूमिगत हो सकती है।

नए मंत्रियों की सूची,पार्टी व जाति के साथ—

1 शाहनवाज हुसैन- मुस्लिम (भाजपा),2 श्रवण कुमार- कुर्मी (जदयू),3 मदन सहनी- मल्लाह (जदयू),4 प्रमोद कुमार- वैश्य (भाजपा),5 संजय झा- ब्राह्मण (ब्राह्मण),6 लेसी सिंह- राजपूत (जदयू),7 सम्राट चौधरी- कुशवाहा (भाजपा),8 नीरज सिंह बबलू-राजपूत (भाजपा),9 सुभाष सिंह- राजपूत (भाजपा),10 नितिन नवीन- कायस्थ (भाजपा),11 सुमित कुमार सिंह- राजपूत (जदयू),12 सुनील कुमार- दलित पासवान (जदयू),13 नारायण प्रसाद- वैश्य (भाजपा),14 जयंत राज- कुशवाहा (जदयू),15 आलोक रंजन झा- ब्राह्मण (भाजपा),16 जमा खान- मुस्लिम (जदयू),17 जनक राम- चमार( भाजपा)

 

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