संवाददाता.पटना. बिहार में शिक्षक भर्ती नई नियमावली को वापस लेने की मांग करते हुए विकासशील स्वराज पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव प्रेम कुमार चौधरी ने कहा कि ज्ञान की स्थली रही बिहार को पिछले 32 वर्षों के शासनकाल ने शिक्षा व्यवस्था को गर्त में पहुंचा दिया,शिक्षा की गुणवत्ता को समाप्त कर दिया, साथ ही बेरोजगार युवकों को ठगने का काम कर रही है, वर्तमान सरकार।
उन्होंने कहा कि लागू की गई नई शिक्षा नीति बिल्कुल शिक्षक अभ्यर्थियों के साथ एक भद्दा मजाक है। सभी तरह की परीक्षाओं को पास करने के बाद नियोजन की आस लगाए शिक्षक अभ्यर्थी के साथ सरकार ने छल किया है। हमारी पार्टी का मानना है कि सभी परीक्षा पास कर चुके शिक्षक अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र मिलना चाहिए था तो बिहार सरकार ने नई नियमावली निकाल दी है। इसके मुताबिक अब फिर से एक नई परीक्षा होगी और शिक्षक अभ्यर्थियों को नए सिरे से आयोग द्वारा आयोजित परीक्षा को पास करनी होगी।
श्री चौधरी ने राज्य सरकार पर आरोप लगाया कि युवाओं को सरकार ठगने का काम कर रही है,शिक्षक अभ्यर्थी कभी इस नियम को स्वीकार नहीं करेंगे। उनमें काफी आक्रोश व्याप्त है।यही वजह है कि युवाओं को इसका विरोध करने के लिए सड़कों पर उतरना पड़ रहा है। हमारी पार्टी ने निर्णय लिया है कि हम राज्य के युवाओं के साथ मजबूती के साथ खड़े रहेंगे। सरकार की नई नीति का विरोध करते रहेंगे।
श्री चौधरी ने कहा कि सरकार को नई नियमावली वापस लेनी होगी और जो युवा शिक्षक अभ्यर्थी परीक्षा पास कर चुके हैं, उन्हें नियुक्ति पत्र देना होगा। सरकार की नीयत पर सवाल उठा रहे विकासशील स्वराज पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव प्रेम चौधरी ने कहा कि सरकार युवाओं को नौकरी नहीं देना चाहती है। परीक्षा के चक्रव्यूह में फंसाकर उनका जीवन बर्बाद कर देना चाहती है।