संवाददाता.पटना. राजद केंद्र के तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलनरत संयुक्त किसान मोर्चा द्वारा बुलाए गए ‘भारत बंद’ को सक्रिय समर्थन दे रही है । राजद प्रवक्ता चित्तरंजन गगन ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव के आह्वान और प्रदेश अध्यक्ष जगदानन्द सिंह जी के निर्देश पर राजद के सभी कार्यकर्ता किसान संगठनों व किसानों द्वारा 27 सितंबर को बुलाए गए शांतिपूर्ण भारत बंद के समर्थन में सड़क पर उतरेंगे ।
उन्होंने कहा कि राजद द्वारा सभी व्यवसायियों , कर्मचारियों , मजदूरों एवं आम लोगों से अन्नदाताओं के समर्थन में बन्द को सफल बनाने में सहयोग और समर्थन देने की अपील की गई है।राजद मांग करती है कि किसानों के साथ वार्ता प्रक्रिया शुरू की जानी चाहिए क्योंकि वे पिछले दस महीने से दिल्ली की सीमाओं पर बैठे हुए हैं। साथ हीं बिना चर्चा के लागू किए गए ये तीनों काले कानून वापस लिया जाए।
राजद नेता ने कहा कि न्यूनतम समर्थन मूल्य को हर किसान का कानूनी अधिकार बनाया जाए क्योंकि अब वे केवल जुमले नहीं चाहते हैं और उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के वर्ष 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने के वादे का भी उल्लेख किया । राजद नेता ने दावा किया कि अगर एक किसान परिवार की 2012-2013 की आय के साथ 2018-2019 की आय की तुलना की जाए तो एक किसान की आय 48 फीसदी से घटकर 38 फीसदी रह गई है।
राजद नेता ने कहा कि कृषि कानूनों को निरस्त करने तथा न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की कानूनी गारंटी की मांग को लेकर किसानों का ‘ऐतिहासिक’ संघर्ष 10वें महीने में पहुंच गया है । उन्होंने सरकार पर “हठ करने” का आरोप लगाया और कहा कि केंद्र संघर्षरत किसानों से बातचीत करने से इनकार कर रहा है । राजद ने केंद्र सरकार के इस ‘हठ’ की निंदा करते हुए मांग की कि नए कृषि कानूनों को तुरंत निरस्त किया जाए, एमएसपी की गारंटी दी जाए ।