कांग्रेस शासित राज्यों में सबसे अधिक बर्बाद हो रहे हैं वैक्सीन- संजय जायसवाल

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संवाददाता.पटना.टीकों को लेकर कांग्रेस पर ओछी राजनीति करने का आरोप लगाते हुए भाजपा प्रदेश अध्यक्ष डॉ संजय जायसवाल ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एक तरफ बार-बार कह रहे हैं कि कोविड के टीके की एक खुराक बर्बाद करना किसी व्यक्ति को जीवन कवच से वंचित करने जैसा है, लेकिन लोगों के जीवन से खिलवाड़ करने की आदत बना चुकी कांग्रेस पर इसका कोई असर नहीं है. पहले तो इन्होंने टीकाकरण के खिलाफ जमकर दुष्प्रचार किया और अब वैक्सीनों की बर्बादी में इनके शासित राज्य सबसे आगे हैं.

भाजपा प्रदेशाध्यक्ष ने कहा कि बर्बाद हुए कुल 50 लाख वैक्सीनों से अकेले राजस्थान ने ही 11.50 लाख वैक्सीन बर्बाद किये हैं. कांग्रेस का कोई नेता इसपर जवाब देने को तैयार नहीं है. 20 करोड़ वैक्सीन भारतवासियों के लिए केंद्र सरकार दे चुकी है. पूरे भारत के करोना योद्धाओं के साथ 45 वर्ष के ऊपर के सभी को मुफ्त वैक्सीन केंद्र सरकार को ही देना है. इसके बाद केंद्रीय पूल में जो 50% वैक्सीन दवा कंपनियों से केंद्र खरीद रही है वह भी सभी राज्यों में बराबर बांट देगी. इसके बावजूद एक ख़ास एजेंडे के तहत वैक्सीनों की कमी और वितरण को लेकर सवाल खड़े किये जा रहे हैं.

विदेशों में वैक्सीन भेजने के दुष्प्रचार का जवाब देते हुए डॉ जायसवाल ने लिखा कि कोविशिल्ड वैक्सीन सिरम इंस्टीट्यूट और ब्रिटेन- स्वीडन की मल्टीनेशनल कंपनी एस्ट्राजेन्का का रिसर्च प्रोडक्ट है. एस्ट्राजेन्का द्वारा वैक्सीन निर्माण के लिए कच्चे माल का एक हिस्सा दिया जाता है और उसके बदले वैक्सीन का एक हिस्सा सिरम इंस्टीट्यूट द्वारा एस्ट्राजेन्का को दिया जाता है. इसके अतिरिक्त यूनाइटेड नेशंस की नीति के तहत पूरे दुनिया में वैक्सीन उत्पादन करने वाले देशों को गरीब और उत्पादन नहीं कर सकने वाले राष्ट्रों को भी कुछ वैक्सीन देनी पड़ती है. इसी को लेकर कांग्रेसी टूलकिट षड्यंत्र के सहारे वैक्सीनों के विदेश भेजे जाने के अफवाह उड़ाते रहते हैं.

भाजपा प्रदेशाध्यक्ष ने कहा कि इस आपदा में राजनीतिक अवसर खोजने में कांग्रेस अकेली नहीं है बल्कि केजरीवाल सरकार का भी साथ उन्हें बराबर मिल रहा है. 50 करोड़ रुपये के वैक्सीनेशन के लिए 293 करोड़ रुपये के विज्ञापन का प्रावधान कर रोज टीवी पर आने वाले दिल्ली के मुख्यमंत्री पहले कहते थे कि मोदी जी ने बिना जांच किए भारतीयों पर वैक्सीन का प्रयोग किया है और हमें वैक्सीन कहीं से भी खरीदने की छूट चाहिए और आजकल वह केंद्र सरकार से रोजाना वैक्सिन मांगने का दिखावा कर रहे हैं. उन्होंने अभी एक नया नाटक शुरू किया है कि केंद्र सरकार उनके सुझाव पर वैक्सीन प्रोडक्शन को बढ़ाए, जबकि उन्हें अच्छे से पता है कि जून तक हमारी प्रोडक्शन कैपेसिटी 10 करोड़ और नवंबर तक 20 करोड़ से ऊपर हो जाएगी. इससे इन दलों की मानसिकता का पता चलता है.

 

 

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