निशिकांत सिंह.पटना.चर्चित लव-जेहाद मामले में एसएसपी ने केस के आईओ को हटा दिया.केस देख रही आईओ अर्चना कुमारी द्वारा लिखी गई केस डायरी संदेह व्यक्त किया गया था. इधर पीड़ित युवती ज्योति (काल्पनिक नाम) ने बताया कि आईओ अर्चना सिंह ने केस के बाद एक हजार रूपए यह कह कर लिया था कि उसे कागज तैयार करवाना है. पीडिता ने यह आरोप लिखित रूप से एसएसपी को दिया था कि उसने मुख्य आरोपी से मिलकर डायरी सही नहीं लिखा.
अभी तक मुख्य आरोपी आसिफ एकबाल को पुलिस गिरफ्तार नहीं कर पाई है. जबकि पीड़िता को लगातार धमकियां मिल रही है. पीड़िता ने मामले की पूरी जानकारी देते हुए बताया कि घटना का एक महिना से ऊपर हो गया लेकिन मुख्य आरोपी को पुलिस ने गिरफ्तार नहीं किया है. जबकि कोर्ट से लौटते समय हमें तीन बार एकबाल व उसके साथियों ने धमकी दी है कि लौट जाओ कोलकत्ता.
पीड़िता ने बताया कि केस डायरी में आईओ अर्चना सिंह ने जो लिखा है वह सरासर गलत है. उसने जिक्र किया है कि लड़की के भाई धनराज ने हॉस्टल में पहुंचाया था. जबकि उसका कोई भी है ही नहीं.केस डायरी में कहा गया है कि बैंकिंग की तैयारी के लिए मैं पटना आई थी जो सरासर गलत है.
उधर केस देख रहे वकील ने कहा कि केस डायरी में पूरी तरह से मामले की लीपापोती की गयी है. जो सरासर गलत है. गौरव होटल के मालिक जो कह रहा है कि मेरे यहां कोई रिकार्ड नहीं रहता है, कौन आ रहा- नहीं आ रहा है. तब यह तो बिहार पुलिस के आदेश का भी खुल्लमखुल्ला उलंघन है. इधर पीडिता द्वारा आवेदन देने के बाद आईओ अर्चना सिंह को हटा दिया गया है. और उनकी जगह पर थाना प्रभारी नीलमणी को खुद केस देखने को कहा गया है तथा सुप्रिविजन के लिए रंजना को दिया गया है.